Dehradun: देहरादून में भारी बारिश से बनी बाढ़ जैसी स्थिति, स्कूल से लौट रही दो किशोरियां बहकर बचीं

Dehradun: देहरादून में मंगलवार को भारी बारिश ने बाढ़ जैसी स्थिति पैदा कर दी। कुछ ही घंटों में हुई तेज बारिश ने शहर के कई हिस्सों में जलभराव की समस्या खड़ी कर दी। सबसे ज्यादा चिंताजनक घटना तब हुई जब चंद्रबनी में स्कूल से लौट रही दो किशोरियां पानी के तेज बहाव में बह गईं। सौभाग्य से, समय रहते स्थानीय लोगों और एसडीआरएफ की टीम ने उन्हें सुरक्षित बाहर निकाला।
भारी बारिश से उत्पन्न स्थिति
मंगलवार की दोपहर से शुरू हुई बारिश ने राजधानी देहरादून को पानी-पानी कर दिया। लगभग एक घंटे में ही 33 मिमी से अधिक बारिश हो गई, जो सामान्य वर्षा से 20 प्रतिशत अधिक थी। विकासनगर में सबसे ज्यादा 59 मिमी बारिश दर्ज की गई, जबकि देहरादून शहर में 39.5 मिमी, मोहकमपुर में 33.1 मिमी और करनपुर में 19.5 मिमी बारिश हुई।
शहर में जलभराव
बारिश के कारण घण्टाघर, दर्शनलाल चौक, तहसील चौक, प्रिंस चौक, सहारनपुर चौक, हरिद्वार बाईपास, अजाबपुर फ्लाईओवर सहित शहर के कई प्रमुख स्थानों पर भारी जलभराव हो गया। हालांकि बारिश रुकने के बाद कुछ समय में पानी निकल गया, लेकिन तब तक यातायात व्यवस्था बुरी तरह प्रभावित हो चुकी थी।
किशोरियों का बहना और रेस्क्यू ऑपरेशन
दोपहर के करीब 2 बजे चंद्रबनी में रहने वाली किशोरियां चांदनी और कृष्णा अपने छोटे भाई को स्कूल से लेने गई थीं। वापस लौटते समय वे बारिश के पानी के तेज बहाव में बह गईं। इस घटना की जानकारी मिलते ही पुलिस और एसडीआरएफ की टीम ने तुरंत रेस्क्यू ऑपरेशन शुरू किया। स्थानीय लोगों की मदद से दोनों किशोरियों को सुरक्षित बचा लिया गया। इस घटना से उनके परिवारजनों ने राहत की सांस ली।
निगम की कार्रवाई
बारिश के दौरान नगर निगम के नियंत्रण कक्ष में शहर के तीन अलग-अलग स्थानों से जलभराव की शिकायतें प्राप्त हुईं। वार्ड-83 केदारपुरम, लोअर नेहरू ग्राम के गणेश एन्क्लेव और डस्टर स्कूल के पीछे चंद्रबनी में जलभराव की समस्या उत्पन्न हुई। निगम की टीमों को तुरंत पंप के साथ इन स्थानों पर भेजा गया और शाम तक सभी समस्याओं का समाधान कर दिया गया।
निष्कर्ष
देहरादून में भारी बारिश ने एक बार फिर से शहर की जल निकासी व्यवस्था पर सवाल खड़े कर दिए हैं। इस तरह की स्थिति से बचने के लिए प्रभावी उपाय किए जाने की आवश्यकता है। हालांकि, प्रशासन और स्थानीय लोगों की तत्परता से एक बड़ा हादसा टल गया। इस घटना से यह भी स्पष्ट होता है कि आपदा की स्थिति में तेजी से कार्रवाई करना कितना महत्वपूर्ण है।